कटिहार- मुकुरिया रेल खंडों का होगा दोहरीकरण, माल ढुलाई में आएगी तेजी।

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KATIHAR: पूरे देश में पीएम गति शक्ति योजना के तहत रेल इन्फ्राट्रक्चर में तेजी से बदलाव कर माल ढुलाई प्रक्रिया को और भी तेज करने का प्रयास किया जा रहा है। इसी कड़ी में बिहार में भी कई रेल परियोजनाओं पर काम चल रहा है। पीएम गति शक्ति योजना के नेटवर्क योजना समूह ने तीन महत्वपूर्ण रेलवे परियोजनाओं की जांच और सिफारिश की है। इसमें गोरखपुर कैंट-वाल्मीकिनगर रेल लाइन का दोहरीकरण, कटिहार-मुकुरिया और कटिहार-कुमेदपुर का दोहरीकरण भी शामिल है।


इन रेल लाइनों के आंतरिक इलाकों में माल ढुलाई की तेज आवाजाही होगी। लॉजिस्टिक्‍स की कार्य क्षमता में तेजी होने के साथ उनकी लागत में कमी आयेगी। रेल मंत्रालय ने तीन हजार लाख टन माल ढुलाई के लक्ष्य को प्राप्त करने के लिए रेलवे लाइनों के उच्च घनत्व नेटवर्क की पहचान की है।


1.) गोरखपुर कैंट- बाल्मीकि नगर रेल लाइन।

पश्चिमी भारत से पूर्वोत्तर राज्यों में खाद्यान्न की आवाजाही, गोरखपुर छावनी – वाल्मीकिनगर (95 किमी) में केवल एक रेलवे लाइन है। इससे माल ढुलाई प्रभावित होती है। वाल्मीकिनगर से मुजफ्फरपुर तक दोहरी करण का काम पहले से ही चल रहा है. इस प्रस्तावित दोहरी करण परियोजना पर 1120 करोड़ रुपये की लागत आयेगी। इससे लॉजिस्टिक्‍स की कार्य क्षमता में काफी सुधार होने की उम्मीद है।

2.) कटिहार- मुकुरिया और कटिहार- कुमेदपुर रेल लाइन।

बता दें कि कटिहार – मुकुरिया और कटिहार – कुमेदपुर बेहद व्यस्त खंड हैं। वर्तमान में यह सिंगल लाइन है। यह पूर्वोत्तर और हावड़ा को जोड़ने के लिए महत्वपूर्ण लिंक है। इन खंडों के दोहरी करण से कोलकाता बंदरगाह से विराट नगर माल की आवाजाही में काफी मदद मिलेगी। इस परियोजना पर 942 करोड़ रुपये खर्च होंगे।

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