सुपौल : सुपौल के सांसद श्री दिलेश्वर कामैत ने पिछले कई महीनों से सहरसा से पटना और नई दिल्ली के ट्रेनों की माग कर रहे है जो झंझारपुर के रास्ते चलेगी। जिसपर रेलवे ने उन्हें आश्वासन दिया है की इस पर विचार किया जा रहा है। 


आइए जानते है उनके द्वारा की गई पत्राचार के बारे में।


सर्वप्रथम मैं आभार व्यक्त करता हूँ तथा धन्यवाद देता हूँ कि आपने मेरे संसदीय क्षेत्र सुपौल को बजट 2023-24 में नई रेल परियोजना सुपौल-अररिया (पू०म०रे०) के लिए 235 करोड़ रूपये देने का प्रावधान किया है।

महोदय मैं अपने संसदीय क्षेत्र की मुख्य लंबित मांगों की ओर आपका ध्यान आकृष्ट करना चाहता हूँ ।

मिथिलांचल तथा कोशी प्रमंडल को जोड़ने के लिए 86 वर्षो के बाद कोशी ब्रीज पर रेल परिचालन लगभग दो वर्ष पूर्व ही प्रारंभ हो चूका है किन्तु आजतक इस जिलावासियों को राज्य की राजधानी पटना तथा भारत की राजधानी दिल्ली या देश के अन्य भागों मे रेल सेवा द्वारा जाने का सौभाग्य प्राप्त नहीं हुआ है। सुपौल जिला से कम से कम एक ट्रेन पटना तथा एक ट्रेन दिल्ली के लिए बहुत ही आवश्यक है जिसके लिए मैंने कई बार आपका ध्यान आकृष्ट करनें का काम किया किन्तु आज तक इसपर कोई कार्रवाई नहीं हुई।

जनहित एक्सप्रेश तथा वैशाली एक्सप्रेश को भाया सुपौल सरायगढ़, दरभंगा होते हुए पटना तथा नई दिल्ली चलाया जाय


मेरा आग्रह है कि जनहित में दानापुर-सहरसा ( पूर्व मध्य रेलवे) गाड़ी सं० 13205/13206 जनहित एक्सप्रेश तथा नई दिल्ली से सहरसा गाड़ी सं012554 / 12553 वैशाली एक्सप्रेश को भाया सुपौल सरायगढ़, दरभंगा होते हुए पटना तथा नई दिल्ली चलाया जाय अथवा सहरसा से इसका विस्तार कम से कम सरायगढ. तक किया जाय साथ ही राजरानी एक्सप्रेश ट्रेन न0.12567 / 12568 जो सहरसा तक आती है उसका विस्तार सुपौल या सरायगढ तक तत्काल किया जाय जिससे सीमावर्ती एवं सीमांचल क्षेत्र के लोगो को लाभ मिलेगा एवं कटिहार-बरौनी रेल खंड पर भी भार कम होगा।




गाड़ी सं0 13331/13332 इंटरसीटी एक्सप्रेश जो पटना से सहरसा तक जाती है उसका विस्तार सरायगढ़ तक किया जाय ।

यथाशीघ्र ललितग्राम से फारबिसगंज तक रेल यातायात का परिचालन शुरू किया जाय


पूर्व मध्य रेलवे के ललितग्राम से फारबिसगंज रेल खंड पर सी० आर० एस० के द्वारा निरीक्षण का कार्य एक महीना पूर्व में ही पूरा कर लिया गया है परन्तु अभी तक रेल यातायात का परिचालन नहीं हुआ है मामला रेलवे बोर्ड में लंबित है अतः आग्रह है कि जनहित में यथाशीघ्र ललितग्राम से फारबिसगंज तक रेल यातायात का परिचालन शुरू किया जाय ।



महोदय, भारत-नेपाल सीमा पर अवस्थित प्रतापगंज - भीमपुर - बथनाहा 57 किलोमीटर रेलगाड़ी ब्रिटिश काल में चल रही थी, जो वर्ष 1934 के भूकंप और प्रलयकारी बाढ़ से ध्वस्त हो गयी थी। आजादी के 71 साल बीत जाने के बाद भी यह क्षेत्र रेल लाईन से नहीं जुड़ पाया है। जिसका सर्वे करने का आदेश भवदीय द्वारा दिया गया है तथा उसके लिए बजट में भी फंड का प्रावधान किया गया है। यह सीमावर्ती क्षेत्र है और सामरिक दृष्टिकोण से बहुत ही महत्वपूर्ण पिछड़ा क्षेत्र है। आग्रह है कि अतिशीघ्र सर्वे कराकर उक्त खंड पर आगे की कार्रवाई की जाय ।

निवेदन है कि जनहित में उपरोक्त मांगों पर संज्ञान लेते हुए यथाशीघ्र उचित कारवाई करनें की कृपा की जाय।


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